तिवरा भाजी रांध ओ, सुघ्घर भुंज बघार । हरियर मिरचा डार दे, बने रहय ना झार ।। बने रहय ना झार, बुरक दे धनिया पत्ती । अइसन भाजी भात, मिठाथे मोला अत्ती । तै अउ लाबे टोर, खेत मा लहसे भाजी । चुरकी रख बे जोर,सूखसा तिवरा भाजी ।।
पुस्तक: मानसिक शक्ति-स्वामी शिवानंद
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मानसिक शक्ति THOUGHT POWER का अविकल रूपान्तर लेखक श्री स्वामी शिवानन्द
सरस्वती
3 माह पहले